उत्तर प्रदेश विधान परिषद के सभापति के बेटे की रविवार को संदिग्ध हालात में मौत हो गई। उनका शव दारुलशफा विधायक निवास में मिला है। इसकी जानकारी होने पर हजरतगंज पुलिस ने अंतिम संस्कार रुकवा दिया। परिवार में प्रापर्टी का विवाद आया सामने। विवेक के शव को पोस्टमार्टम के लिए भेजा गया है। विधान परिषद सदस्य की दूसरी पत्नी ने कहा मेरी और बड़े बेटे की जान को खतरा है। रमेश यादव हमारी हत्या करवा सकते हैं। पुलिस पड़ताल में लगी है जबकि परिवार के लोग बता रहे हैं कि सीने में अचानक दर्द के बाद अभिजीत ने दम तोड़ा है। फिलहाल पुलिस ने शव कब्जे में लेकर पोस्टमॉर्टम के लिए भेज कर पूरे मामले की तफ्तीश शुरू कर दी है।

जानकारी के मुताबिक, घटना हजरतगंज कोतवाली क्षेत्र के दुरुलशफा स्थित विधायक निवास की है। यहां डी ब्लॉक के कमरा नम्बर 28 में उत्तर प्रदेश विधान परिषद के सभापति सभापति रमेश यादव अपने परिवार के साथ रहते हैं। रमेश यादव के छोटे पुत्र अभिजीत की अभिजीत उर्फ विवेक (21) का शव जहां मिला है, उस कमरे में उनके बड़े भाई और मां भी थे। परिवार के लोगों का कहना है कि विवेक के आज सुबह अचानक तेज दर्द उठा था, जिसके बाद उसकी मौत हो गई। परिवार के लोगों ने बिना पुलिस को सूचना दिए ही अभिजीत का शव अंतिम संस्कार के लिए भेज दिया।

परिवार का कहना है कि विवेक शनिवार रात करीब 11 बजे घर आया था। तब उसने सीने में दर्द की जानकारी मां को दी थी। मां ने सीने में मालिश कर उसे सुला दिया था। सुबह जब काफी देर तक अभिजीत नहीं उठा तो मां उसे उठाने पहुंची। शरीर में कोई हरकत न होती देख भाई को भी बुलाया। भाई ने विवेक की नब्ज जांची तो पता चला उसकी मौत हो चुकी थी। सूचना पर पहुंची पुलिस ने मौत को संदिग्ध बताया है, लेकिन परिवार की ओर से कोई शिकायत दर्ज न कराने पर शव को परिवार के हवाले कर दिया। माना जा रहा है कि विवेक की मौत हार्ट अटैक के चलते हुई है। वहीं रमेश की दूसरी पत्नी मीरा यादव ने अपनी और बड़े बेटे की जान को खतरा बताया है।

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