दिल्ली की एक अदालत ने  सितंबर 2008 में हुए सिलसिलेवार बम धमाकों से संबंधित एक मामले में इंडियन मुजाहिदीन के सह-संस्थापक यासीन भटकल और उसके एक सहयोगी के खिलाफ षड्यंत्र तथा आतंकवाद से संबंधित आरोप तय किए. इन बम विस्फोटों में 26 लोग मारे गए थे जबकि 135 अन्य घायल हुए थे. अतिरिक्त सत्र न्यायाधीश सिद्धार्थ शर्मा ने यूएपीए, भारतीय दंड संहिता और विस्फोटक पदार्थ कानून के तहत विभिन्न अपराधों के संबंध में भटकल और उसके सहयोगी असदुल्ला अख्तर के खिलाफ मुकदमे की शुरुआत की.

दिल्ली में हुए धमाकों ने ली थी 26 जानें

धमाके दिल्ली के सबसे व्यस्त बाजारों में हुए थे जिसमें कनॉट प्लेस में 2, करोलबाग के गफ्फार मार्केट में एक और ग्रेटर कैलाश के एम ब्लॉक मार्केट में दो ब्लॉस्ट हुए थे. दिल्ली में सबसे पहला धमाका शाम 6 बजकर 10 मिनट पर देश के सबसे बड़े मोबाइल बाजार करोल बाग के गफ्फार मार्केट में हुआ था. इस धमाके में 26 लोगों की जान चली गई थी. 135 लोग बुरी तरह घायल हुए थे. इस ब्लास्ट ने दिल्ली सहित पूरे देश को हिलाकर रख दिया था.

7 मार्च को होगी अगली सुनवाई

अदालत ने अहमद सिद्दिबप्पा उर्फ यासीन भटकल के अलावा अन्य कथित आईएम सदस्यों जिया-उर-रहमान, तहसीन अख्तर, मोहम्मद वकार अजहर, मोहम्मद मारुफ , मोहम्मद सकिब अंसारी, इम्तेयाज आलम और एजाज शेख के खिलाफ भी आरोप तय किये. अदालत ने इस मामले की अगली सुनवाई की तारीख सात मार्च तय की.

कौन है यासीन भटकल?

आतंकी संगठन इंडियन मुजाहिदीन का फाउंडर मेंबर यासीन भटकल का जन्म 1983 में कर्नाटक के तटीय शहर भटकल में हुआ था. यासीन को मोहम्मद अहमद सिद्धीबप्पा के नाम से भी जाना जाता है. उसकी पढ़ाई अंजुमन हामी-ए-मुस्लमीन मदरसे में हुई. 12 राज्यों की आतंक निरोधी एजेंसियों की चार्जशीट के मुताबिक भटकल देश भर में जर्मन बेकरी सहित कम से कम 10 आतंकी हमलों में शामिल रहा है. दिल्ली के बाजारों में हुए सीरियल ब्लास्ट का भी मास्टरमाइंड यासीन बताया गया था. भटकल मुंबई लोकल, बैंगलोर, जयपुर, वाराणसी, सूरत में हुए कई बम धमाके का भी आरोपी है.

इंडियन मुजाहिद्दीन का फाउंडर मेम्बर है भटकल

यासीन भटकल इंडियन मुजाहिदीन का फाउंडर मेंबर है. आईएम के गठन से पहले वह प्रतिबंधित संगठन सिमी का सक्रिय सदस्य था. इंटेलीजेंसएजेंसियों के अनुसार, भटकल हमेशा अपने ठिकाने बदलता रहता था. भटकल अपना भेष बदलकर खुद को छुपाने में माहिर है. इसके अलावा बम बनाने तथा स्लीपर सेल तैयार करने में माहिर है. कोलकाता पुलिस ने भटकल को जाली नोटों के केस में पकड़ा था. तब भटकल ने अपना नाम पुलिस को शाहरुख बताया था. बाद में पुलिस को पता लगा कि यह तो यासीन भटकल था. पुलिस को इसके पहले भी वह कई दफे चकमा देने में कामयाब रहा. वह जिस इलाके में रहता था वहां, अपना हुलिया और नाम दोनों बदलकर रहता था, इसी कारण पुलिस उसे पहचान नहीं पाती थी. भटकल का ससुराल दिल्‍ली में है और उसने यहां हथियारों की एक फैक्‍ट्री भी लगाई थी, जिसका खुलासा भी हुआ था.

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