नोट बंदी का असर पूरे देश के साथ साथ भगवान् के घर में भी देखने को मिल रहा है । नोट बंदी के कारण लोग मंदिरों के दान पात्र में दान तक नही कर पा रहे थे । लेकिन बदलते देश के साथ अब भगवान् के घर में भी बदलाव आ रहा है। नोट बंदी को ध्यान में रखते हुए भगवान् के घर पर अब डिजिटल दान दिया जा सकता है। बता दें कि गुजरात के द्वारका ,अंबाजी और सोमनाथ मंदिर जैसे बड़े मंदिरों में अब कैशलेस दान स्वीकार करने की व्यवस्था की गई है । जहाँ पर अब आप ई-वालेट, एटीएम और स्वाइप मशीनों के ज़रिये दान दे पाएंगे ।

‘प्रसाद’ के लिए ई-भुगतान की सुविधा 

  • नोट बंदी के चलते भक्तों को दान देने में समस्या का सामना करना पड़ रहा है।
  • जिसको देखते हुए गुजरात के बड़े  बड़े मंदिरों में अब कैशलेस दान स्वीकार करने की व्यवस्था की गई है ।
  • भक्तों कि सुविधा के लिए मंदिरों में  ई-वालेट, एटीएम और स्वाइप मशीनों जैसी व्यवस्था शुरू की गई है।
  • कैशलेस दान  पर द्वारका मंदिर व्यवस्थापन समिति के उपाध्यक्ष धनराज नाथवानी ने बताया,
  • ‘‘नोटबंदी के प्रभाव के कारण मैंने श्रद्धालुओं को दान देने में मदद के लिए यह कदम उठाया है।’’
  • नाथवानी ने कहा ‘‘लाखों लोग यहाँ आते हैं और भगवान द्वारकाधीश से आशीर्वाद लेते हैं।’’
  • कैशलेस लेन-देन को लोकप्रिय बनाने के लिए गुजरात के मुख्यमंत्री विजय रूपानी भी आगे आये हैं।
  • उन्होंने बनासकांठा जिले के प्रसिद्ध अंबाजी मंदिर में डिजिटल दान देने के लिए स्वाइन मशीन लगवाई है।
  • स्वाइन मशीन उदघाटन करते हुए उन्होंने अपनी पत्नी के डेबिट कार्ड के जरिए मंदिर में 31,000 रूपया दान दिया।
  • सोमनाथ मंदिर में भी डिजिटल वॉलेट किय व्यवस्था की जा रही है
  • मंदिर ट्रस्ट के सचिव प्रवीणभाई लाहेरी ने बताया कि अब वे एक डिजिटल वॉलेट लगवाने के लिए कंपनी के साथ बात कर रहे हैं।
  • जिससे धन और दान डिजिटल रूप में प्राप्त किया जा सके।
  • गिर सोमनाथ जिले में स्थित मंदिर में ट्रस्ट ने ‘प्रसाद’ के लिए ई-भुगतान के जरिए दान लेना शुरू कर दिया है।

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