बिहार में कल रात 8 बजे सरेराह हिन्दुस्तान समाचार पत्र के ब्यूरो चीफ राजदेव रंजन की हत्या कर दी गयी। मोटरसाइकिल पर सवार अज्ञात बंदूकधारियों ने राजदेव पर दो गोली चलाई जिसमें से एक उनके सिर में और दूसरी गर्दन पर लगी। हॉस्पिटल ले जाते वक्त रास्ते में ही राजदेव रंजन की मृत्यु हो गयी।

बताया जा रहा है कि राजदेव जब टाउन थाना क्षेत्र के पास ओवरब्रिज से घर जा रहे थे तब अज्ञात बंदूकधारियों ने उनपर फायरिंग कर दी। पुलिस मामले की छानबीन में जुटी हुई है लेकिन अभी तक हत्या के कारणों का पता नही चल पाया है।

राजदेव रंजन बहुत निर्भीक पत्रकार थे और समाज के विभिन्न मुद्दों को बहुत बेबाकी से जनता के समक्ष रखते थे।

गुरूवार को उनकी शादी की सालगिरह थी। सिवान के महादेवा कम्पाउंड में रहने वाले राजदेव की मौत ने मीडिया जगत में एक चर्चा शुरू कर दी है कि आखिर बिहार में खुलेआम गुंदागर्दी और हत्याओं का दौर थमने का नाम क्यों नहीं ले रहा है।

राज्य के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने जंगलराज का खात्मा करने का विश्वास दिलाया था लेकिन पिछले एक हफ्ते में आदित्य सचदेवा की JDU-एमएलसी के बेटे रॉकी यादव द्वारा कथित रूप से गोली मारे जाने के बाद ये दूसरी बड़ी वारदात बताई जा रही है।

बीजेपी के नेता शाहनवाज हुसैन मृतक राजदेव के परिवार के प्रति सहानुभूति जताई और मुख्यमंत्री नीतीश कुमार पर हमला करते हुए कहा कि बिहार में जंगलराज नहीं महाजंगलराज है। साथ ही उन्होंने कहा कि लोकतंत्र का चौथा स्तम्भ खतरे में है।

गौरतलब है कि आदित्य सचदेवा की हत्या के बाद जंगलराज के सवाल पर राज्य के उपमुख्यमंत्री और लालू प्रसाद यादव के पुत्र ने विवादस्पद बयान भी दिया था और राज्य में ऐसी किसी भी सूरत को सिरे से नकार दिया था।

मामले में दो लोगों को हिरासत में लिया गया है और उनसे पूछताछ की जा रही है।

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