यूपी और बिहार में इस समय उपचुनावों के लिए मतदान की प्रक्रिया चल रही है। इसके अलावा सभी की नजर देश में कई राज्य सभा सीटों पर होने वाले चुनाव पर टिकी हुई है। इस चुनाव में भी ज्यादातर राज्यों में भाजपा का दबदबा रहने के कारण उसके सदस्यों का जीतना तय माना जा रहा है। इस बीच विपक्ष की एक पार्टी ने सबसे बड़े बागी नेता को अपनी तरफ से राज्य सभा भेजने का फैसला कर लिया है जिसके बाद देश में हड़कम्प मच गया है।

शरद यादव जायेंगे राज्य सभा :

जनता दल यूनाइटेड के बागी नेता शरद यादव को लालू प्रसाद यादव की पार्टी राष्ट्रीय जनता दल राज्यसभा भेजने की तैयारी कर रही है। सूत्रों से मिल रही खबर के अनुसार, आरजेडी ने बड़ा फैसला करते हुए बिहार से शरद यादव और अशफाक करीम को राज्यसभा का उम्मीदवार बनाने का फैसला कर लिया है। इसके अलावा कांग्रेस की तरफ से पूर्व केंद्रीय मंत्री अखिलेश सिंह राज्यसभा उम्मीदवार बनाये गये हैं। इसके अला सत्ताधारी दल जेडीयू से प्रदेश अध्यक्ष वशिष्ठ नारायण सिंह को राज्यसभा उम्मीदवार बनाया गया है। हालाँकि जेडीयू से राज्यसभा जाने वाले दूसरे उम्मीदवार के नाम पर सस्पेंस बना हुआ है।

लालू से की थी मुलाकात :

जेडीयू के बागी नेता शरद यादव ने 5 फरवरी को रांची स्थित बिरसा मुंडा सेंट्रल जेल में आरजेडी अध्यक्ष लालू प्रसाद यादव से मुलाकात की थी। चर्चा है कि इसके बाद ही आरजेडी ने शरद यादव को राज्यसभा भेजे जाने का फैसला किया है. लालू प्रसाद यादव चारा घोटाला मामले में इस समय सजा काट रहे हैं। शरद यादव को दिसंबर 2017 में जेडीयू की अपील के बाद राज्यसभा से अयोग्य करार दिया गया था। जेडीयू ने पार्टी विरोधी गतिविधियों में शामिल होने का आरोप लगाया था मगर अभी तक पार्टी ने उन्हें निष्कासित नहीं किया है। शरद ने महागठबंधन तोड़कर बीजेपी से मिलने पर जेडीयू के खिलाफ बागी रुख अपना लिया था।

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