उत्तर प्रदेश में योगी सरकार आने के बाद से पूरे सूबे में बदलाव देखने को मिल रहा है। अब प्रदेश में सरकार के बदलने का असर समाजवादी पार्टी के गढ़ और मुलायम सिंह यादव के पैतृक गाँव सैफई पर पड़ रहा है। समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष और उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव का पैतृक गाँव इन दिनों अँधेरे में डूबा हुआ है। इसके बाद भी लगातार बिजली विभाग की गाज सैफई पर गिरती जा रही है।

सरकारी इमारतों पर गिर रही गाज :

सपा अध्यक्ष और पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव के गांव सैफई में सरकारी इमारतों पर बिजली विभाग की कार्यवाई देखने को मिल रही है। यहाँ पर करीब सप्ताह भर पूर्व हवाई पट्टी की बिजली काट दी गई। इसके बाद अब ट्रांजिस्ट हॉस्टल समेत चार सरकारी इमारतों की भी बिजली काट दी गई। इन चारों पर करीब 60 लाख रुपये की बकायेदारी है।

विद्युत् विभाग के अधीक्षण अभियंता एसके शर्मा ने बताया कि सैफई के पीडब्ल्यूडी गेस्ट हाउस पर 5.68 लाख रुपये व ट्रांजिस्ट हॉस्टल पर 36.41 लाख रुपये बिजली बिल बकाया है। इसके अलावा पीडब्ल्यूडी डाक बंगला पर 5.68 लाख रुपये और कृषि उत्पादन मंडी परिषद पर 18.37 लाख रुपये के बिलों का बकाया है।

बिना भुगतान नहीं जुड़ेंगे कनेक्शन :

बिजली विभाग के अधिकारी ने कहा कि जब तक बकाया धनराशि जमा नहीं होगी, तब तक कनेक्शन जोड़े नहीं जाएंगे। इसके अलावा सैफई क्षेत्र में बिलों का बकाया जमा न करने और कटे हुए कनेक्शन जोड़कर बिजली का उपयोग करने पर 12 उपभोक्ताओं के खिलाफ एफआईआर भी दर्ज कराई गई है।

सपा सरकार में मुलायम के पैतृक गाँव सैफई में बड़ी-बड़ी सरकारी इमारतें बनवाई गईं। इन इमारतों में सुख सुविधा के लिहाज से एसी लगे हुए हैं। बिजली विभाग के अधिकारियों का कहना है कि 10 हजार या उससे अधिक के बकायेदारों के कनेक्शन काटे जा रहे हैं। उसी के तहत कार्रवाई की जा रही है।

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