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मेरे खिलाफ मस्जिदों में ऐलान कर जुटाई गयी भीड़ : मंत्री संजीव बालियान

मेरे खिलाफ मस्जिदों में ऐलान कर जुटाई गयी भीड़ : मंत्री संजीव बालियान

मेरे खिलाफ मस्जिदों में ऐलान कर जुटाई गयी भीड़ : मंत्री संजीव बालियान

मुज़फ्फरनगर

सोमवार की दोपहर मुज़फ्फरनगर की बुढ़ाना विधानसभा इलाके के गांव सौरम में हुए संजीव बालियान और रालोद समर्थको के बिच हाथापाई और मारपीट के मामले में सोमवार सुबह केंद्रीय मंत्री संजीव बालियान ने एक पत्रकारवार्ता में कहा की राष्ट्रिय लोकदल के बड़े नेताओ के कहने पर मुझ पर और मेरे समर्थको पर हमला किया गया और उसके बाद मस्जिदों से ऐलान कर गांव में भीड़ जुटाई गयी। संजीव बालियान ने कहा की भैंसवाल गांव में समाजवादी पार्टी के जो उमीदवार थे उनकी पार्टी और उनके परिवार के लोगो द्वारा नारेबाजी की गई मेरे साथ बत्तमीजी का प्रयाश किया गया उसके बाद कल सोरम गांव में राष्ट्रिय लोकदल के ब्लॉक अध्यक्ष के कहने पर उनके चार पांच कार्यकर्ताओ द्वारा जब में सोरम गांव में एक तेरहवी में गया था में किसी राजनैतिक कार्यक्रम में नहीं गया था कम से कम हमें एक दूसरे का मान सम्मान तो रखना चाहिए सुख दुःख में तो सभी जाते है इस लिए इन चीजों को राजनीती से दूर रखे समाज को मत तोड़िये राजनीती तो हितो रहेगी पहले भी हुई है और आगे भी होती रहेगी चुनाव में हम लोग पहले भी लडे है और आगे भी लड़ते रहेंगे लेकिन समाज को मत तोड़िये आप लोग तो समाज को लड़ा कर चले जायेंगे भुगतना मुज़फ्फरनगर की जनता को पड़ेगा। ये घटना बड़ी दुर्भाग्यपूर्ण है में व्यक्तिगत रूप से बहुत परेशान हूँ वो लोग बहुत खुस होंगे क्योंकि उन्होंने दिल्ली में बैठकर मुज़फ्फरनगर पर राजनीती की है वो लोग दिल्ली में बैठकर लोगो के बिच भावना भड़काकर राजनीती की है और हमने लोगो के बिच पसीना बहा कर राजनीती की है। वंहा लोकदल के बड़े नेता वंहा मौजूद थे जो लोग 26 जनवरी के दिन लालकिले पर मौजूद थे वही लोग कल सोरम में मौजूद थे मेरे निकलते ही उन लोगो ने नारेबाजी की और हमारे लोगो के साथ हाथापाई की उसके बाद सोरम गांव में मस्जिदों से ऐलान हुआ की संजीव बालियान के विरोध में इकठ्ठा हो जाओ में ये कहता हूँ आप मुझे 2013 की घटना की तरफ मत लेकर जाओ क्योंकि आप 2013 की घटना के बाद भी भाग गए थे इस बार भी भाग जाओगे 2013 में भी मेने भुगता था सोरम और पुरबालियान में लोग मारे गए थे लेकिन ये लोग पता लेने भी नहीं आये थे उस समय फर्जी मुकदमे दर्ज हुए तब भी नहीं आये और आज संजीव बालियान अगर सोरम में दुःख प्रकट करने आया तो ये लोग भी आ गए इन्हे संजीब बालियान के विरोध में सौरम याद आया। ये लोग आज आ रहे है लेकिन में हमेशा यही अपने लोगो के बिच रहता हूँ। ये लोग राजनीती करेंगे और वापस दिल्ली चले जायेंगे। मेने अपना कोई सुरक्षा घेरा नहीं बढ़ाया है ना कभी पहले सुरक्षा ली थी और ना अब अपने लोग है मारेंगे तो घर बैठ जायेंगे रहना तो इन्ही लोगो के बिच है।

संजीव बालियान (केंद्रीय मंत्री ) भैंसवाल गांव में समाजवादी पार्टी के जो उमीदवार थे उनकी पार्टी और उनके परिवार के लोगो द्वारा नारेबाजी की गई मेरे साथ बत्तमीजी का प्रयाश किया गया उसके बाद कल सोरम गांव में राष्ट्रिय लोकदल के ब्लॉक अध्यक्ष के कहने पर उनके चार पांच कार्यकर्ताओ द्वारा जब में सोरम गांव में एक तेरहवी में गया था में किसी राजनैतिक कार्यक्रम में नहीं गया था कम से कम हमें एक दूसरे का मान सम्मान तो रखना चाहिए सुख दुःख में तो सभी जाते है इस लिए इन चीजों को राजनीती से दूर रखे समाज को मत तोड़िये राजनीती तो हितो रहेगी पहले भी हुई है और आगे भी होती रहेगी चुनाव में हम लोग पहले भी लडे है और आगे भी लड़ते रहेंगे लेकिन समाज को मत तोड़िये आप लोग तो समाज को लड़ा कर चले जायेंगे भुगतना मुज़फ्फरनगर की जनता को पड़ेगा। ये घटना बड़ी दुर्भाग्यपूर्ण है में व्यक्तिगत रूप से बहुत परेशान हूँ वो लोग बहुत खुस होंगे क्योंकि उन्होंने दिल्ली में बैठकर मुज़फ्फरनगर पर राजनीती की है वो लोग दिल्ली में बैठकर लोगो के बिच भावना भड़काकर राजनीती की है और हमने लोगो के बिच पसीना बहा कर राजनीती की है। वंहा लोकदल के बड़े नेता वंहा मौजूद थे जो लोग 26 जनवरी के दिन लालकिले पर मौजूद थे वही लोग कल सोरम में मौजूद थे मेरे निकलते ही उन लोगो ने नारेबाजी की और हमारे लोगो के साथ हाथापाई की उसके बाद सोरम गांव में मस्जिदों से ऐलान हुआ की संजीव बालियान के विरोध में इकठ्ठा हो जाओ में ये कहता हूँ आप मुझे 2013 की घटना की तरफ मत लेकर जाओ क्योंकि आप 2013 की घटना के बाद भी भाग गए थे इस बार भी भाग जाओगे 2013 में भी मेने भुगता था सोरम और पुरबालियान में लोग मारे गए थे लेकिन ये लोग पता लेने भी नहीं आये थे उस समय फर्जी मुकदमे दर्ज हुए तब भी नहीं आये और आज संजीव बालियान अगर सोरम में दुःख प्रकट करने आया तो ये लोग भी आ गए इन्हे संजीब बालियान के विरोध में सौरम याद आया। ये लोग आज आ रहे है लेकिन में हमेशा यही अपने लोगो के बिच रहता हूँ। ये लोग राजनीती करेंगे और वापस दिल्ली चले जायेंगे। मेने अपना कोई सुरक्षा घेरा नहीं बढ़ाया है ना कभी पहले सुरक्षा ली थी और ना अब अपने लोग है मारेंगे तो घर बैठ जायेंगे रहना तो इन्ही लोगो के बिच है।

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