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CM योगी ने किया ‘द मिलियन फार्मर्स स्कूल 2’ का शुभारंभ

cm yogi inaugurates the million-farmer-school to increase farmers income

cm yogi inaugurates the million-farmer-school to increase farmers income

किसानों की कृषि की आय दोगुनी करने के लिए प्रदेश सरकार ने कदम बढाते हुए नई योजना की शुरुआत कर दी हैं. इसके लिए आज सीएम योगी ने द मिलियन फार्मर स्कूल अभियान का शुभारम्भ किया. 

सीएम योगी का सम्बोधन:

-इस दौरान सीएम योगी ने कहा कि जो लोग गन्ने पर राजनीति करना चाह रहा है, उनके लिए जवाब है, कि गन्ने की पैदावार बढ़ी है

-सब्जी उत्पादन, मछली पालन, बागबानी, से किसानों की आय में भी वृद्धि होगी.. जिससे प्रदेश और देश की खुशहाली बढ़ेगी जो लोग गन्ने में राजनीति करना चाह रहा है उनके लिए जवाब है.. कि गन्ने की पैदावार बढ़ी है..

-सब्जी उत्पादन, मछली पालन, बागबानी से किसानों की आय में भी वृद्धि होगी, जिससे प्रदेश और देश की खुशहाली बढ़ेगी.

विद्युत् वितरण में भेदभाव खत्म:

-हमने विद्युत वितरण में भेदभाव समाप्त किया.

-प्रदेश में जो डार्क जोन घोषित किये गए थे, वहां किसान परेशान था. हमने कहा यूपी डार्क जोन हो ही नहीं सकता.

-हमने डार्क जोन की व्यवस्था को खत्म किया किसानों को ट्यूबवेल कनेक्शन मिला-योगी किसान के पलायन का चिंता का विषय था.

-जो किसान कुछ करना चाहते हैं,  जिनमें प्रतिभा है. उन्हें चिन्हित कर के आगे बढ़ाएंगे.

-बाराबंकीे का किसान राम शरण वर्मा उदाहरण है.

-धान का क्रय सीधे किसानों के खाते में डालने का कार्य किया।

-प्रधानमंत्री का लक्ष्य किसानों की आय को दोगुना करना है.

-1 वर्ष पूर्व जो हमे विरासत में मिला था, वो सब जानते है.

-उत्तर प्रदेश का नाम भय और अराजकता का प्रतीक बन गया था.

तकनीक से जुड़ने से 2 करोड़ से ज्यादा किसान होंगे खुशहाल:

-तकनीक के साथ किसानों को जोड़ें तो यूपी का 2 करोड़ 43 लाख किसान के जीवन मे खुशहाली आ जाएगी-.

-यूपी अनेक संभावनाओं वाला प्रदेश है.

-गन्ना मूल्य का बकाया का भुगतान कराया.

-इस साल 22 हज़ार करोड़ का भुगतान कराया.

-पिछले साल 37 लाख मीट्रिक टन, धान 47 लाख मीट्रिक टन खरीदा गया.

-यहां का किसान मेहनती, युवा प्रतिभावान था, फिर भी यूपी का नाम भय और अराजकता का प्रतीक बन गया था.

-प्रदेश और देश मे किसानों की जागरूकता के सुखद परिणाम आ रहे हैं.

-2014 के बाद कैसे परिवर्तन हुआ ये हम सब देख सख्ते हैं.

-2004 से 2014 तक सबसे ज़्यादा किसानों ने आत्महत्या की.

खेती का होगा हेल्थ कार्ड:

-मनुष्य के हेल्थकार्ड के बारे में तो सोचा था लेकिन खेती का भी हेल्थ कार्ड होगा ये किसी ने सोचा नही था.

-एक समय था खेती घाटे का सौदा बनने लगी थी.

-जीवन मे सबसे उत्तम खेती लेकिन आज लोग नौकरी को उत्तम मानने लगे.

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