आधुनिकीकरण के इस दौर में अफसरशाही दम तोड़ रही है और जनता का विश्वास खत्म हो रहा है। अब पुलिस और प्रशासन पर कोई यकीन करने को तैयार नहीं होता है। इस स्थिति में भी अगर कोई आम जनता की मदद के लिए हाथ बढ़ाता है, जनता भी उसे अपने सिर आंखों पर रखती है। ऐसी ही शख्सियत है मेरठ की जिलाधिकारी बी. चंद्रकला। उनकी मौजूदी मंगलवार को घड़ियालों की खत्म प्रजाती बचाने के लिए 72 घड़ियालों को गंगा में छोड़ा गया।

72 घड़ियालों को मिला नया बसेरा

  • केंद्र सरकार व वर्ल्ड  बैंक द्धारा घड़ियाल पुर्नवास स्थापना केंद्र चलाया जा रहा है।
  • इसके तहत घड़ियालों की खत्म होती प्रजाती को बचाने के लिए मेरठ बड़ा कदम उठाया गया।
  • मेरठ के मकदुमपुर गंगा तट पर वन विभाग द्धारा 72 घड़ियाल छोडे गए,
  • यहां मेरठ डीएम बी चंदकला भी इस मोके पर मौजूद रही।

  • उन्होंने वहां मौजूद वन विभाग के अधिकारियों से छोड़े जाने वाले घडियालो के बारे में जानकारी हासिल की।
  • घड़ियाल के द्धारा गंगा में बढ़ रहे प्रदुषण को कम करने में सफलता मिली हैं,
  • इस प्रोजेक्ट पर रिसर्च कर रहे वन विभाग की अधिकारी ने बताया की घड़ियाल की विलुप्त हो रही है,
  • इस प्रजाती को बचाने के लिए इनके पुर्नवास की बहुत आवश्यक हैं।
  • जिसके लिए वातावरण का अनुकुल होना जरूरी हैं और गंगा का मकदुमपुर किनारा घड़ियालों के लिए काफी अनुकुल हैं।
  • बता दें कि अभी तक घड़ियाल पुर्नवास के लिए 600  घडियाल छोडे गए है।
  • इसमें आज 72 घड़ियाल मकदुमपुर गंगा घाट छोडे गए है, इनके उपर चिप लगाकर नजर रखी जा रही हैं।

वीडियो देखें :

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