Uttar Pradesh News, UP News ,Hindi News Portal ,यूपी की ताजा खबरें
Uttar Pradesh

एरा के डॉक्टरों ने आईसीयू में भर्ती मरीज को निकाला, परिजनों से की अभद्रता

Era Doctors Accused of Discharge to patients and Misbehave with family

Era Doctors Accused of Discharge to patients and Misbehave with family

राजधानी लखनऊ स्थित सरकारी अस्पतालों से लेकर निजी अस्पतालों में भी कुछ दबंग डॉक्टरों की गुंडई लगातार जारी है। धरती के भगवान् कहे जाने वाले डॉक्टरों ने अब यमराज का रूप धारण कर लिया है ये कहना गलत नहीं होगा। ऐसे गंभीर आरोप एक मरीज के परिजनों ने एरा मेडिकल कॉलेज के डॉक्टरों पर लगाए हैं। मरीज के घरवालों का आरोप है कि उनकी बुजुर्ग माँ को बेडसोर (दबाव अलसर) की बीमारी हो गई है, उन्होंने उपचार के लिए एरा अस्तपाल में भर्ती कराया।

यहां लापरवाह डॉक्टरों ने भर्ती करके टीबी का इलाज किया। हालत में सुधार ना होने पर ज्यादा ग्लूकोज चढ़ा दिया। इससे उनका शरीर में सूजन आ गई। हालत बिगड़ने पर उन्हें 4 दिन आईसीयू में रखा और खूब पैसे वसूले। इसके बाद डॉक्टरों ने 10 दिन बाद उन्हें जबरन ट्रॉमा रेफर कर दिया। परिजनों ने इसका विरोध किया तो डॉक्टरों ने परिजनों से गाली-गलौज कर अभद्रता की। आरोप है कि डॉक्टरों ने उन्हें जबरन अस्पताल से भगा दिया। इसके बाद वह ट्रॉमा सेंटर बुजुर्ग को लेकर पहुंचे। यहां डॉक्टरों ने उन्हें भर्ती नहीं किया। आरोप है कि 24 घंटे बाद भी ट्रॉमा में उन्हें इलाज नहीं मिला है। पीड़ित ने इसकी शिकायत मुख्यमंत्री हेल्पलाइन पर भी की है, यहां से उसे कार्रवाई का आश्वासन मिला है।

जानकारी के मुताबिक, पीड़ित परिवार मूलरूप से रूपपुर खदरा हसनगंज का रहने वाला है। यहां की रहने वाली 86 वर्षीय आशमी बेगम को बेडसोर की बीमारी है। उनके पुत्र एसएस हसन ने बताया कि माँ की तबियत बिगड़ने पर उन्हें 11 दिसंबर 2018 को हरदोई रोड स्थित एरा मेडिकल कॉलेज में इलाज के लिए भर्ती कराया गया था। यहां उनका इलाज डॉ. मेहतम नाम की महिला कर रही थी। बताया जा रहा है कि लापरवाह डॉक्टर बेडसोर बीमारी का इलाज ना करके उनका टीबी का इलाज करते रहे। तबियत बिगड़ने पर उन्हें 4 दिन आईसीयू में रखा गया। लापरवाही के तहत उन्हें भारी मात्रा में ग्लूकोज चढ़ाया गया। इससे उनके शरीर में सूजन आ गई।

आरोप है कि अस्पताल में इलाज के दौरान कोई सुविधा नहीं दी गई। डॉक्टर रोजाना 5000 रुपये का इंजेक्शन लगा रहे थे। 10 दिन में डॉक्टरों ने करीब 70 हजार रुपये से अधिक वसूल लिए। हालत में सुधार ना होते देख जब पीड़ितों ने डॉक्टरों से पूछा तो डॉक्टर अभद्रता पर उतारू हो गए। आरोप है कि डॉक्टर गाली-गलौज करते हुए मारपीट पर उतर आये। आरोप है कि बात हाथापाई तक आ गई। इसके बाद डॉक्टरों ने मरीज को ट्रॉमा सेंटर रेफर कर दिया। यहां लेकर माँ को पहुंचे तो 24 घंटे बाद भी इलाज नहीं मिल पाया। डॉक्टरों के इस रवैये से अस्पतालों में भर्ती मरीजों के साथ उनके तीमारदार भी परेशान हैं, इससे पहले केजीएमयू के ट्रॉमा सेंटर में मरीज की पिटाई करते हुए एक डॉक्टर का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो चुका है।

[penci_related_posts taxonomies=”undefined” title=”हिंदी की खबरें” background=”” border=”” thumbright=”yes” number=”4″ style=”grid” align=”none” displayby=”post_tag” orderby=”random”]

Related posts

कक्षा एक के छात्र पर जानलेवा हमला मामला, आरोपी छात्रा की हुई पहचान, कक्षा 7 की आरोपी छात्रा ने किया था हमला, दो बार कर चुकी है, जान देने का प्रयास, पिछले साल काटी थी हाथ की नसें.

Ashutosh Srivastava
6 years ago

मुख्य सचिव आरके तिवारी : आरोग्य मेले की शुरुवात सीएम की पेरणा और उनके निर्देशन में और उनकी सोच का परिणाम है।

Desk
3 years ago

अयोध्या में जनसभा करने पहुंचे बसपा के राष्ट्रीय महासचिव सतीश चंद्र मिश्रा

Desk
2 years ago
Exit mobile version