दूरबीन विधि से गले में पड़ी गाँठ को निकालना अभी तक मात्र pgi को छोड़कर किसी भी सरकारी अस्पतालों में संभव नहीं था. लेकिन, पहली बार केजीएमयू में इस तरह की सर्जरी की गयी है. जिसमें दूरबीन विधि से मरीज का ऑपरेशन करके गांठ को निकाला गया है.

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थायरायड की थी समस्या

  • सुल्तानपुर निवासी 25 वर्षीय युवक को थायरायड की समस्या थी.
  • लगतार समस्या बने रहने से मरीज के गले में गाँठ हो गयी थी.
  • पड़ोसियों के कहने पर वह इलाज के लिए केजीएमयू पहुंचा तो यहाँ उसे सर्जन डॉ.गीतिका नंदा ने उसे देखा.
  • साथ ही उन्होंने युवक को सर्जरी कराने की सलाह दी.
  • आपको बता दें की ओपन सर्जरी में गले में चीरा लगाकर गाँठ को निकाल दिया जाता है.
  • हालाकि ऐसी स्थिति में गले पर निशान पड़ता है जो की दूसरों को भी साफ़ दिखाई देता है.
  • डॉ. गीतिका नंदा ने मरीज से बात कर दूरबीन विधि से इसकी सर्जरी की करने की बात कही. केजीएमयू में इससे पहले गले की गाँठ निकालने के लिए दूरबीन बिधि से आज तक कोई ऑपरेशन नहीं किया गया था.

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  • डॉ. गीतिका ने अपने टीम लीडर डॉ. विनोद जैन से बात की तो उन्होंने भी इसके लिए सहयोग करने को कहा.
  • अल्ट्रासॉउन्ड, FNAC, TSH जांच कराने के बाद शुक्रवार को युवक की सर्जरी की गयी.
  • डॉ. विनोद जैन और डॉ.गीतिका ने बताया कि युवक के सीने पर दाहिनी तरफ तीन छेद करके ऑपरेशन किया.
  • ऑपरेशन में करीब साढ़े चार घंटे का समय लगा. जिसके बाद तीन सेंटीमीटर की गाँठ सफलता पूर्वक निकाली जा सकी.
  • उन्होंने बताया कि इस सर्जरी में लगभग पांच हजार रूपए का खर्च आया.
  • लेकिन यदि इस सर्जरी को किसी प्राइवेट अस्पताल में किया जाता तो इसका मरीज से दो लाख रूपए तक लिया जा सकता था.

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