उत्तर प्रदेश चुनाव में सपा-कांग्रेस का गठबंधन यूपी पर जीत हासिल करने की बात कर रहा है। लेकिन अभी भी दोनों पार्टियों के प्रत्याशी सीट की मारामारी में फंसे हुए है। ऐसे में इस गठबंधन की कुछ सीट खटाई में पड़ सकती है। सपा-कांग्रेस के आला-कमान के आदेशों के बाद भी प्रत्याशी अपनी मनमर्जी करने में जुटे हुए है। अब पार्टी के लिए ऐसे प्रत्याशियों को समझाना मुश्किल हो गया है।

सपा-कांग्रेस प्रत्याशी आमने-सामने

  • सपा-कांग्रेस के गठबंधन का पेंच लखनऊ में ही फसा हुआ है।
  • इस गठबंधन में सीटों को लेकर भले ही सहमति बन चुकी है।
  • लेकिन पार्टी प्रत्याशियों को यह सहमति रास नहीं आ रही है।
  • गठबंधन में ‘लखनऊ मध्य’ की सीट पर पेंच अभी तक फंसा है।
  • बता दें कि इस सीट पर सपा के रविदास मल्होत्रा और कांग्रेस के मारूफ खान ने अपना नामांकन भरा है।
  • हाल में ही सपा ने इस सीट पर गठबंधन के तहत रविदास मल्होत्रा चुनाव लड़ने को कहा था।
  • लेकिन कांग्रेस नेता मारूफ खान इस सीट को छोड़ने के लिए तैयार नहीं हैं।
  • यहां तक कि मारूफ खान ने मंगलवार को प्रेसवार्ता कर ‘लखनऊ मध्य’ सीट से लड़ने का ऐलान कर दिया है।

  • उन्होंने कहा कि मैं अपना चुनाव पूरी ताकत से साथ लड़ूंगा।
  • मारूफ ने दावा किया कि वह गठबंधन के उम्मीदवार के रूप में चुनाव लड़ रहे हैं।
  • उन्होंने पार्टी के शीर्ष नेताओं आदेश मानने से इंकार कर दिया है।
  • उनका दावा है कि उन्हें किसी ने चुनाव लड़ने से नहीं रोका है।
  • साथ ही मध्य क्षेत्र की जनता चाहती है कि वह चुनाव लड़ें।
  • इसलिए वह पिछले कई दिनों से क्षेत्र में प्रचार कर रहे हैं।
  • उन्होंने इस दौरान राहुल और अखिलेश के गठबंधन के फैसले को भी सराहा।
  • गठबंधन के बाद भी लखनऊ मध्य की सीट पर बड़ा विवाद है।
  • इस समय गठबंधन में आने वाली इस सीट पर एक नहीं दो प्रत्याशी मैदान में है।
  • अगर यह विवाद जल्द नहीं सुलझता है तो इसका फायदा विरोधी पार्टियों को भी मिल सकता है।
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