फर्रुखाबाद जिले में बाढ़ से निपटने के लिए अधिकारी अपने दावे कर रहे है लेकिन हकीकत में उनके दावे खोखले है. क्योंकि जब बाढ़ से पहले की हकीकत जानने बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों का दौरा करने के बाद पता चलता हैं. बता दें कि अब तक कोई भी अधिकारी वहां पर पहुंचा ही नहीं.

गंगा से सिर्फ 8 फुट दूरी पर है गाँव:

मामला फर्रुखाबाद जिले के कमालगंज क्षेत्र का हैं, जहाँ नगला खेम रैगाई गाँव, जो गंगा के किनारे बसा हुआ है, बाढ़ आने पर डूबने की स्थिति में आ जायेगा.  बता दें कि यह गांव गंगा से मात्र 8 फुट दूरी पर है. लेकिन इसको कटने से बचाने के लिए अभी तक कोई ठोस इंतजाम नही किये गए हैं.  तत्कालीन डीएम रविन्द्र कुमार ने इसको बचाने के लिए बल्लियों लगवा दी थी, तो कटान रुक गया था.

लेकिन इस साल अभी तक कोई सर्वे भी नही किया गया है. यह गांव लगभग 2000 की आबादी वाला है. गांव वालों ने बताया कि कई खेत पहले ही गंगा में समा चुके है. अब केवल मकान बचे हुए हैं.

लोगों में बाढ़ का खौफ इस कदर हैं कि लोगों की नींद अभी से उडी हुई हैं. वजह यह है की बाढ़ की वजह से कब कटान शुरू हो जाये, पता नहीं होता. दूसरी तरफ जिला प्रसाशन गाँव वालों की परेशानी की तरफ कोई ध्यान नही दे रहा है।

कितने गांव गंगा के कटान पर:

वहीं जिले में लगभग एक सैकड़ा गांव ऐसे हैं, जो गंगा के किनारे बसे हुए है. यदि जिला प्रसाशन बाढ़ आने से पहले कटान को रोकने के पुख्ता इंतजाम कर दे तो उन गांवों को कटने से बचाया जा सकता है.

लेकिन ऐसा नही किया जा रहा है. वहीं अब बरसात का मौसम आ गया हैं और  गंगा का जल स्तर बढ़ने लगा है. बावजूद इसके अब तक किसी गांव को कटने से बचाने का काम शुरू नही हुआ.

वहीं जिले में दो गाँवों की स्थिति तो बाढ़ को लेकर बेहद गंभीर हैं. इनमे मौजा चाचूपुर ग्राम सभा का एक गाँव है, यह गांव पिछले साल आधा कट चुका है. वहीं वह कमालगंज क्षेत्र में नगला खेमकरन रैगाई भी कटने की कगार पर बसा हुआ है.

अधिकारियों का बयान:

इस मामले में जिले के अधिकारियों का कहना है कि जो गांव कटान की स्थित में हैं, उनको चयनित कर लिया गया है। सिंचाई विभाग को आदेश भी जारी कर दिए गए हैं. जिससे वह समय रहते गांवों को कटने से बचाया जा सके.

उन्होंने ये भी बताया कि जिले में जो होमगार्ड तैराक हैं, उनकी एक टीम बना ली गई. जो आपात कालीन समय मे रेस्क्यू करके बाढ़ में फंसे लोगों को बचा सकेंगे और एनडीआरएफ से भी बात हो गई है बाढ़ शुरू होते ही वह जिले में पहुंच जायेगी.

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