उत्तर प्रदेश पुलिस की ‘यूपी 100’ सेवा में बुधवार 13 दिसंबर को पुलिस कोऑर्डिनेशन की बड़ी बैठक का आयोजन किया गया था, जिसके तहत बैठक में उत्तर प्रदेश ही नहीं बल्कि देश के 8 राज्यों के पुलिस महानिदेशक इस कोऑर्डिनेशन बैठक में शामिल हुए थे, इसके साथ ही बैठक की अध्यक्षता मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने की थी, इसके साथ ही मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने बैठक का संबोधन भी किया था, अपने संबोधन के दौरान मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने प्रदेश की कानून-व्यवस्था को लेकर बातचीत की। बैठक में हरियाणा, जम्मू-कश्मीर, हिमाचल प्रदेश, पंजाब, चंडीगढ़, नई दिल्ली, उत्तराखंड और यूपी के DGP मौजूद रहे थे। साथ ही बैठक में CISF, CRPF, ITBP और SSB के प्रतिनिधि भी शामिल हुए थे।
पुलिस कोऑर्डिनेशन बैठक में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के संबोधन के मुख्य अंश:
प्रदेश में कई चुनौतियां हैं:
- उत्तर प्रदेश में कई चुनौतियां हैं।
- पिछले नौ महीनों में हमने महसूस किया है कि तकनीक के साथ-साथ अपराध और सुरक्षा से जुड़ी हुई समस्याएं भी बढ़ी हैं
- पुलिस के सामने चुनौतियां हैं और उनकी समस्याएं भी हैं।
- राज्यों को अपने सीमित संसाधनों से समस्याओं का समाधान करना है,
- लेकिन तकनीक का बेहतर उपयोग करते हुए अपराधों को व्यवस्थित रूप से नियंत्रित करने के लिए एक तंत्र बने तो अच्छे परिणाम सामने आ सकते हैं
- सूचना के आदान-प्रदान के साथ-साथ इस तरह की घटनाओं को रोकने के लिए हम एक सिस्टम बना सकें तो न केवल आपराधिक घटनाओं पर प्रभावी रूप से अंकुश लगा सकते हैं,
- बल्कि आतंकवाद, नक्सलवाद व अलगाववाद जैसी घटनाओं को भी नियंत्रित कर सकते हैं
- इस समन्वय बैठक में विचारों के आदान-प्रदान के साथ-साथ सक्सेस स्टोरीज पर भी चर्चा की जानी चाहिए।
- अन्य राज्यों की बेस्ट प्रैक्टिसेज के आदान-प्रदान से अच्छे परिणाम देखने को मिलेंगे
परिणाम भी सामने आये हैं:
- उत्तर प्रदेश ने महिला और सुरक्षा की दिशा में काफी काम किया है।
- कई पहल की गई हैं, जिनसे महिलाओं पर होने वाले अपराधों मे कमी आई है
- अपराध के मुख्य कारणों में भूमि संबंधी विवाद भी काफी होते हैं।
- एंटी भूमाफिया टास्क फोर्स गठित करके हम लोगों ने उत्तर प्रदेश में 1.53 लाख ऐसे मामले चिह्नित किए और हमने प्रभावी कार्रवाई शुरू की है।
- इसके परिणाम भी सामने आए हैं
- उत्तर प्रदेश जैसे राज्य में, जहां जातीय व साम्प्रदायिक तनाव की घटनाएं होती रही हों, उस पर प्रभावी अंकुश लगाने की दिशा में भी हमारी सरकार ने काम किया है
- पुलिस पब्लिक फ्रेंडली बन जाए तो इंटेलिजेंस का सबसे बड़ा स्रोत आम जनता बन जाएगी।
- हमें ऐसा विश्वास जगाना होगा कि, लोग विश्वसनीय तरीके से पुलिस को जानकारी दे सकें
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Divyang Dixit
Journalist, Listener, Mother nature's son, progressive rock lover, Pedestrian, Proud Vegan, व्यंग्यकार