राष्ट्रीय लोकदल उ0प्र0 के अध्यक्ष डाॅ. मसूद अहमद ने केन्द्रीय वित्त मंत्री द्वारा कर्जमाफी के सन्दर्भ में दो टूक बयान पर आश्चर्य व्यक्त करते हुये कहा है कि यह कैसी विडम्बना है कि चुनाव के समय घोषणा हुई और भारतीय जनता पार्टी के एकमात्र प्रमुख प्रचारक एवं देश के (bjp government) प्रधानमंत्री द्वारा प्रत्येक चुनावी सभा में किसानों के कर्ज माफ करने का झूठा प्रचार किया जाय और किसानों के वोट लेकर प्रदेश की सत्ता हासिल कर ली।

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वित्त मंत्री कह रहे एक रुपया नहीं माफ करेंगे

  • डाॅ. अहमद ने कहा कि प्रदेश में भाजपा सरकार के गठन के साथ ही केन्द्र सरकार का रूख बदल गया और कहा गया कि कर्जा माफ करना राज्य सरकार का काम है।
  • आश्चर्य यह है कि प्रधानमंत्री घोषणा करते है कि किसानों के कर्जे माफ होंगे और केन्द्र का वित्तमंत्री कहते है कि एक रूपये भी माफ नहीं करेंगे।

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  • इस विरोधाभास में प्रदेश और देश का किसान स्वयं को लुटा हुआ महसूस कर रहा है।
  • जब किसानों ने शान्तिपूर्ण आन्दोलन करके कर्जमाफी एवं फसलों का उचित मूल्य मांगा तो उसे लाठी और गोली खाने को मिली।
  • देश के प्रधानमंत्री का देश की जनता के साथ इतना बड़ा झूठ बोलना पद की गरिमा के खिलाफ एवं निंदनीय है।

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  • भारतीय जनता पार्टी और उसका संगठन जनता को धोखा देने की ही सरंचना करते हैं।
  • रालोद प्रदेश अध्यक्ष ने चेतावनी देते हुये कहा कि प्रदेश और केन्द्र की सरकार प्रचण्ड बहुमत के नशे में इतना चुर हो गई है कि उसे न तो अपने प्रधानमंत्री द्वारा किये गये वायदों का ध्यान है और न ही जनता की सुख सुविधाओं का।
  • सरकारों के प्रतिनिधि केवल आंकड़ेबाजी का फर्जी खेल प्रस्तुत करके जनता को धोखा दे रहे हैं।
  • अब किसानों ने ठान लिया है कि (bjp government) डेढ़ गुना मूल्य लेकर रहेेगे और कर्जमाफ कराकर ही आन्दोलन वापस होगा।

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