राजधानी लखनऊ के हसनगंज थाना क्षेत्र में प्रतिमा विसर्जन करने के दौरान एक बड़ा हादसा हो गया था। मूर्ति विसर्जन के समय नदी में नहाने के लिए उतरे छह लोग डूब गए। अचानक नाची चीख पुकार सुनकर वहां मौजूद लोगों ने डूब रहे तीन लोगों को किसी तरह बचा लिया। लेकिन तीन अन्य लोग गहरे पानी में डूब गए। जिसमें विशाल नामक एक युवक को जिंदा निकाला गया लेकिन अस्पताल पहुंचते ही उसने दम तोड़ दिया। घटना की जानकरी मिलते ही विधायक नीरज बोरा भी पहुंचे और लापता युवको के परिजन से मिले और पुलिसकर्मियों को तेज काम करने की हिदायत दी।

[penci_blockquote style=”style-1″ align=”none” author=””]गणेश चतुर्थी की प्रतिमा विसर्जित करने के दौरान हुआ हादसा[/penci_blockquote]
लापता दो युवको को देर रात तक गोताखोरों की मदद से ढूंढ़ा गया लेकिन सफलता नहीं मिल सकी। जिसके बाद एनडीआरएफ की टीम भी लगाई गई लेकिन लापता युवको का कुछ पता नहीं चल सका। आधी रात तक घटनास्थल पर एसपी ट्रांसगोमती और सीओ समेत कई थानो की फोर्स मौजूद रही। बताते चले गणेश चतुर्थी के बाद राजधानी के हसनगंज थाना क्षेत्र में गोमती नदी के बंधा पुल पर प्रतिमा विसर्जन करने के लिए भक्तगण एकत्र हुए थे। इसी दौरान यह हादसा हुआ।

[penci_blockquote style=”style-1″ align=”none” author=””]बंधा रोड पर जाम कर किया प्रदर्शन[/penci_blockquote]
वहीं दूसरी तरफ डूबे युवकों के परिजनों ने प्रशासन पर लापरवाही का आरोप लगाते हुए देर रात को बंधा रोड पर जाम लगा दिया। इन लोगो मे प्रशासन की लापरवाही को लेकर काफी गुस्सा था। उनका कहना था कि देर रात तक अंधेरे में ही दूसरे डूबे हुए व्यक्ति की तलाश की जा रही थी। प्रशासन की ओर से लाइट तक का प्रबंध नहीं किया गया है। अंधेरा होने के कारण डूबे व्यक्ति की तलाश करने में काफी असुविधा हो रही है।

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