राज्य कर्मचारी संयुक्त परिषद ने वर्ष 1985 मेें जारी हुए (forced retirement) शासनादेश को इस सरकार में तत्काल प्रभाव से अमल किए जाने पर चिन्ता जताते हुए कहा था कि एकाएक लम्बे अरसे से काम कर रहे कर्मचारी को अक्षम बताकर सरकार उस कर्मचारी के हक का सीधा हनन कर रही है.  50 वर्ष की उम्र के बाद सरकारी कर्मचारी को जबरन सेवानिवृत्त कराये जाने साथ 13  सूत्रीय मांगों को लेकर राज्य कर्मचारी संघ के बैनर तले कर्मचारियों ने आज कानपुर के फूलबाग स्थित गाँधी प्रतिमा के समक्ष धरना प्रदर्शन किया.

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जबरन सेवा निवृत्त एवं वेतन विसंगतियों को लेकर प्रदर्शन-

  • प्रदेश की योगी सरकार ने 50 वर्ष से अधिक आयु वाले अक्षम सरकारी कर्मचारियों को अनिवार्य सेवानिवृत्ति के तहत रिटायरमेंट देंने की बात कही थी.
  • जिसके बाद से ही राज्य कर्मचारी संघ सरकार के इस फैसले का विरोध कर रहा है.
  • इसी क्रम में यूपी के कानपुर में भी आज कर्मचारियों ने राज्य कर्मचारी संघ के बैनर तले प्रदर्शन किया.
  • ये धरना प्रदर्शन कानपुर के फूलबाग स्थित गाँधी प्रतिमा के समक्ष किया गया.

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  • धरना प्रदर्शन के दौरान कर्मचारी जबरन सेवा निवृत्त कराये जाने व् वेतन विसंगतयो को समाप्त किये जाने की मांग कर रहे हैं.
  • इसके साथ ही ये कर्मचारी अन्य 13 सूत्रीय मांगों को लेकर भी ये प्रदर्शन कर रहे हैं.
  • प्रदर्शन कर रहे कर्मचारी नेता किशन लाल यादव ने बताया की यह सरकार जबरन 50 वर्ष में कर्मचारियों को सेवा निवृत्त करने जा रही है.
  • जोकि पूरी तरह से गलत है.
  • इसके साथ ही उन्होंने राज्य कर्मचारियों को केंद्र के सामान वेतन व् भत्ते देने की भी बात कही.
  • किशन लाल ने ये भी कहा कि सरकार पुरानी पेंशन व्यवस्था लागू करे.

ऐसे दी जानी थी कर्मचारियों को अनिवार्य सेवानिवृत्ति-

  • यूपी सरकार 50 वर्ष से अधिक आयु वाले अक्षम सरकारी कर्मचारियों को अनिवार्य सेवानिवृत्ति के तहत रिटायरमेंट दे सकती है.
  • इसके लिए 50 वर्ष से अधिक आयु वाले  सरकारी कर्मचारियों की स्क्रीनिंग की जाएगी.
  • स्क्रीनिंग के दौरान कमज़ोर कार्यक्षमता और कार्यदक्षता वाले कर्मचारियों को अनिवार्य सेवानिवृत्ति दे दी जाएगी.
  • सरकार के इस फैसले के बाद इन कर्मचारियों पर बेहतर प्रदर्शन के दबाव बढ़ गया है.
  • बहरहाल 50 वर्ष अधिक वाले आयु किसी भी सरकारी कर्मचारी को उसके नियुक्ति प्राधिकारी बिना कारण बताये हटा सकते हैं.]

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  • जिसके लिए ये अधिकारी कर्मचारियों को 3 महीने की नोटिस अथवा 3 माह का वेतन देकर जनहित में अनिवार्य रूप से सेवानिवृत्त कर सकते हैं.
  • इस मामले में एक ही स्थान पर 3 साल से जमे बाबुओं पर भी सरकार डंडा चलने का मन बना चुकी है.
  • जिसके लिए ऐसे बाबुओं की लिस्ट तैयार की जा रही है.
  • लिस्ट तैयार होने के बाद जल्द ही इस बाबुओं का तबादला शुरू कर दिया जाएगा.
  • सरकार के इस कदम से सभी विभागों का प्रदर्शन और भी बेहतर होने की उम्मीद है.

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