राममंदिर का मुद्दा केवल उत्तर प्रदेश ही नहीं समस्त भारत के लिए एक मुद्दा है और दशकों से चले रहे इस विवाद के कारण यूपी की राजनीति में समीकरण बनते बिगड़ते रहे हैं. एक तरफ बीजेपी राम मंदिर मुद्दे को अहम मुद्दा मानती है और अयोध्या में राम मंदिर निर्माण की बात करती है तो वहीँ बाबरी मस्जिद कमेटी भी यहाँ बाबरी मस्जिद को लेकर हक जताती रही है. ये मामला सुप्रीम कोर्ट में लंबित है.
अयोध्या विवाद का हल आपसी सहमति से हो- सुप्रीम कोर्ट
- इसी मुद्दे पर सुप्रीम कोर्ट ने सुनवाई के दौरान कुछ अहम बातें कही हैं.
- सुप्रीम कोर्ट ने राम-मंदिर विवाद पर कहा है कि ये मुद्दा दोनों पक्षों को आपसी सहमति से सुलझाना चाहिए.
- बाबरी मस्जिद विवाद का हल आपसी सहमति से होन चाहिए.
- इसके अलावा ज़रूरत पड़ने पर कोर्ट दख़ल देगा.
- सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि अयोध्या विवाद सुलझाने के लिए अन्य विकल्पों पर भी विचार कर सकता है.
- सुप्रीम कोर्ट ने कहा है कि इस मामले में किसी जज को मध्यस्थ के रूप में नियुक्त कर सकता है.
- इलाहबाद हाईकोर्ट ने अयोध्या में विवादित ज़मीन को राम जन्मभूमि माना था.
- हाईकोर्ट ने ज़मीन को रामलला, निर्मोही अखाड़ा,सुन्नी बोर्ड को देने को कहा था.
गौरतलब है कि अयोध्या विवाद के कारण यूपी की सियासत में आये दिन भूचाल आते रहते हैं और धार्मिक आस्था से जुड़े इस मामले में सुप्रीम कोर्ट आपसी सहमति से इस विवाद के निपटारे पर जोर देता रहा है.