उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने मध्यान्ह भोजन योजना के मेन्यू में बच्चों को अतिरिक्त पोषक तत्व उपलब्ध कराने के उद्देश्य से सप्ताह में एक दिन ताजा, मौसमी फल वितरित कराने के निर्देश दिए हैं।
यह योजना वर्ष 2016-17 में ग्रीष्मावकाश के उपरान्त शुरु होने वाले सत्र के प्रथम सोमवार से प्रारम्भ की जाएगी।
राज्य सरकार के प्रवक्ता ने बताया कि प्रदेश में मध्यान्ह भोजन योजना के दायरे में शामिल विद्यालयों में पढ़ने वाले छात्र-छात्राओं के बेहतर स्वास्थ्य के लिए मुख्यमंत्री ने यह फैसला लिया है।
इसके तहत स्थानीय स्तर पर आसानी से उपलब्ध ताजे और मौसमी फल जैसे अमरूद, केला, सेब, संतरा, नाशपाती, चीकू, आडू, शरीफा आदि वितरित किए जा सकते हैं।
मध्यान्ह भोजन योजना के अंर्तगत फल वितरण योजना में प्रति विद्यार्थी एक फल वितरित किया जाएगा, और यह ध्यान रखा जाएगा कि फल का आकार औसत से छोटा न हो।
कटे फल जैसे पपीता, तरबूज, खरबूजा इत्यादि नहीं वितरित किए जाएंगे, ताकि फलों में किसी भी प्रकार के संक्रमण की आशंका न रहे। किसी भी दशा में बासी, सड़े-गले व खराब फल वितरित नहीं किए जाएंगे।
स्कूल आते ही छात्र-छात्राओं को ‘मॉर्निंग स्नैक’ के तौर पर फल दिया जाएगा। इससे उन्हें पठन-पाठन के पहले वांछित मात्रा में कैलोरी प्राप्त हो सकेगी तथा फल और दोपहर का भोजन खाने के बीच, पर्याप्त अन्तराल भी रहेगा।
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